तेलंगाना पुलिस का खुलासा
सिडनी के बॉन्डी बीच पर रविवार को हुए सामूहिक गोलीकांड के एक आरोपी की जड़ें भारत से जुड़ी होने की पुष्टि हुई है। तेलंगाना पुलिस ने मंगलवार को बताया कि इस हमले में शामिल 50 वर्षीय साजिद अकरम मूल रूप से हैदराबाद का निवासी था और करीब 27 वर्ष पहले ऑस्ट्रेलिया चला गया था। हमले के दौरान ऑस्ट्रेलियाई पुलिस की कार्रवाई में साजिद अकरम मारा गया।
यह हमला यहूदी त्योहार हनुक्का के आयोजन के दौरान हुआ, जिसमें 15 लोगों की मौत हो गई। ऑस्ट्रेलियाई जांच एजेंसियों ने इसे इस्लामिक स्टेट से प्रेरित आतंकी हमला बताया है। साजिद अकरम के साथ उसका 24 वर्षीय बेटा नावेद अकरम भी शामिल था, जो घायल अवस्था में अस्पताल में पुलिस निगरानी में भर्ती है।
कौन था साजिद अकरम
तेलंगाना के पुलिस महानिदेशक के अनुसार, साजिद अकरम ने नवंबर 1998 में छात्र वीजा पर ऑस्ट्रेलिया की यात्रा की थी। उसने हैदराबाद से बैचलर ऑफ कॉमर्स की पढ़ाई पूरी की थी और रोजगार की तलाश में देश छोड़ा था। वह लगभग 27 वर्षों से ऑस्ट्रेलिया में रह रहा था और इस दौरान हैदराबाद में अपने परिवार से उसका संपर्क सीमित रहा।
पुलिस अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि अकरम के कथित कट्टरपंथी होने और भारत के बीच किसी भी तरह के वैचारिक या संचालनात्मक संबंध के कोई संकेत नहीं मिले हैं। अकरम ने आखिरी बार 2022 में हैदराबाद का दौरा किया था। वह भारतीय पासपोर्ट धारक बना रहा, जबकि उसके दोनों बच्चे—एक बेटा और एक बेटी—ऑस्ट्रेलिया में जन्मे और वहीं के नागरिक हैं।
पारिवारिक रिश्ते और निजी जीवन
जांच के अनुसार, साजिद अकरम के अपने विस्तारित परिवार से संबंध वर्षों पहले पारिवारिक विवादों के कारण टूट चुके थे। 2017 में पिता के निधन पर भी वह अंतिम संस्कार में शामिल नहीं हुआ था। ऑस्ट्रेलिया में उसने यूरोपीय मूल की महिला वेनेरा ग्रोसो से शादी की और परिवार के साथ वहीं स्थायी रूप से बस गया।
बॉन्डी बीच हमला
रविवार को बॉन्डी बीच पर हनुक्का समारोह के दौरान अचानक गोलीबारी शुरू हो गई, जिससे अफरा-तफरी मच गई। ऑस्ट्रेलिया की संघीय पुलिस आयुक्त क्रिसी बैरेट ने कहा कि हमलावरों का उद्देश्य केवल अधिक से अधिक लोगों की जान लेना प्रतीत होता है। जांच में सामने आया कि आरोपी पिता-पुत्र थे। घटना स्थल पर साजिद अकरम की मौत हो गई, जबकि नावेद अकरम घायल हुआ।
पुलिस ने हमले में इस्तेमाल वाहन को जब्त किया है, जो बेटे के नाम पर पंजीकृत था। वाहन से कथित तौर पर तात्कालिक विस्फोटक उपकरण और इस्लामिक स्टेट से जुड़े झंडे बरामद किए गए हैं।
फिलीपींस यात्रा की जांच
ऑस्ट्रेलियाई पुलिस हमले से एक महीने पहले आरोपियों की फिलीपींस यात्रा की भी जांच कर रही है। फिलीपींस के इमिग्रेशन ब्यूरो के अनुसार, साजिद अकरम और उसका बेटा 1 नवंबर को देश में दाखिल हुए और 28 नवंबर को लौटे। साजिद अकरम ने भारतीय पासपोर्ट, जबकि नावेद ने ऑस्ट्रेलियाई पासपोर्ट का उपयोग किया।
दोनों ने दावाओ शहर को अपना अंतिम गंतव्य बताया था। हालांकि, फिलीपींस की सुरक्षा एजेंसियों ने किसी भी तरह के सैन्य प्रशिक्षण की पुष्टि नहीं की है। ऑस्ट्रेलियाई अधिकारियों के अनुसार, इस यात्रा का उद्देश्य और वहां की गतिविधियां अभी जांच के दायरे में हैं।
Author: News Desk
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