राजस्थान, भारत का ‘मरुस्थलीय राज्य’, अपने भव्य किलों, राजसी महलों और समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के लिए जाना जाता है। लेकिन यहां के त्योहार भी उतने ही भव्य और जीवंत हैं। ये त्योहार न केवल स्थानीय परंपराओं को सहेजते हैं बल्कि देश-विदेश से आने वाले पर्यटकों को भी अपनी ओर आकर्षित करते हैं। आइए जानते हैं राजस्थान के प्रमुख त्योहारों और उनकी विशेषताओं के बारे में।
1. पुष्कर मेला
पुष्कर मेला राजस्थान के सबसे प्रसिद्ध और अद्वितीय मेलों में से एक है। इसे दुनिया का सबसे बड़ा ऊंट मेला भी कहा जाता है।
- स्थान: पुष्कर, अजमेर
- समय: हर साल कार्तिक मास (अक्टूबर-नवंबर)
- आकर्षण:
- ऊंटों और मवेशियों की खरीद-बिक्री
- ऊंटों की दौड़ और सजावट प्रतियोगिताएं
- सांस्कृतिक कार्यक्रम, जैसे लोक संगीत और नृत्य
- पवित्र पुष्कर झील में स्नान और ब्रह्मा मंदिर के दर्शन

2. डेजर्ट फेस्टिवल, जैसलमेर
जैसलमेर का डेजर्ट फेस्टिवल राजस्थान के रेगिस्तानी जीवन और संस्कृति की झलक पेश करता है।
- स्थान: जैसलमेर
- समय: फरवरी के महीने में
- आकर्षण:
- लोक संगीत और नृत्य, जैसे कालबेलिया और घूमर
- पगड़ी बांधने और मूंछों की प्रतियोगिता
- ऊंट सफारी और रेगिस्तान में कैम्पिंग
- आतिशबाजी और रेगिस्तान की अद्भुत सजावट

3. तीज महोत्सव
यह त्योहार महिलाओं द्वारा पति की लंबी उम्र और खुशहाल जीवन की कामना के लिए मनाया जाता है।
- स्थान: जयपुर, कोटा, उदयपुर और अन्य शहर
- समय: सावन मास (जुलाई-अगस्त)
- आकर्षण:
- भगवान शिव और देवी पार्वती की पूजा
- सजी हुई झांकियां और शोभायात्राएं
- महिलाएं हरी चूड़ियां पहनती हैं और झूला झूलती हैं
- पारंपरिक गीत और नृत्य का आयोजन

4. गंगौर उत्सव
गंगौर राजस्थान का एक प्रमुख त्योहार है, जो देवी पार्वती को समर्पित है।
- स्थान: जयपुर, उदयपुर और जोधपुर
- समय: चैत्र मास (मार्च-अप्रैल)
- आकर्षण:
- भगवान शिव और देवी गंगा की मूर्तियों की पूजा
- रंगीन शोभायात्राएं और झांकियां
- महिलाएं पारंपरिक परिधानों में सजी होती हैं
- लोक संगीत और नृत्य का प्रदर्शन

5. मरु महोत्सव, बीकानेर
बीकानेर का मरु महोत्सव राजस्थान के रेगिस्तान की भव्यता और सांस्कृतिक धरोहर को दर्शाता है।
- स्थान: बीकानेर
- समय: जनवरी
- आकर्षण:
- ऊंटों की सजावट और दौड़
- लोक कलाकारों का प्रदर्शन
- पारंपरिक व्यंजनों का आनंद
- पतंगबाजी और आतिशबाजी

6. मेवाड़ उत्सव
मेवाड़ उत्सव उदयपुर में मनाया जाने वाला एक भव्य त्योहार है, जो वसंत ऋतु के आगमन का प्रतीक है।
- स्थान: उदयपुर
- समय: चैत्र मास (मार्च-अप्रैल)
- आकर्षण:
- सजी हुई नावों की झांकी
- गंगा और गणगौर की मूर्तियों की पूजा
- लोक नृत्य और संगीत का प्रदर्शन
- झील पिछोला पर आतिशबाजी

7. कुंभलगढ़ फोर्ट फेस्टिवल
यह महोत्सव कुंभलगढ़ किले की भव्यता और राजपूताना संस्कृति को समर्पित है।
- स्थान: कुंभलगढ़, राजसमंद
- समय: दिसंबर
- आकर्षण:
- किले की रोशनी और सजावट
- राजस्थानी लोक नृत्य और संगीत
- हस्तशिल्प प्रदर्शन
- पारंपरिक व्यंजन और मेले का आनंद

8. रामदेवरा मेला
यह मेला बाबा रामदेव, जो एक लोक देवता हैं, की स्मृति में आयोजित किया जाता है।
- स्थान: रामदेवरा, जैसलमेर
- समय: भाद्रपद (अगस्त-सितंबर)
- आकर्षण:
- बाबा रामदेव के मंदिर में श्रद्धालुओं की भीड़
- भजन और कीर्तन
- पारंपरिक हस्तशिल्प और व्यंजन की दुकानें


Author: News Desk
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